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कोहला में महापंचायत होने के बाद आंदोलनकारी किसानों व प्रशासन की बैठक के बाद पाइपलाइन दबाने का काम 8 दिन के लिए बंद

 

गोहाना :-7 नवंबर : गांव कोहला में तेल सप्लाई के लिए पाइपलाइन बिछाने का काम आंदोलनकारी किसानों व प्रशासन की बैठक के बाद 15 नवंबर तक बंद कर दिया गया है। बैठक से पहले आंदोलनकारी किसानों ने धरनास्थल पर एकत्रित होकर महापंचायत की। अब आंदोलनकारी किसानों व प्रशासन के बीच एक सप्ताह तक वार्ता होगी, इसके बाद आगामी फैसला लिया जाएगा।

यह निर्णय वीरवार को किसान नेताओं व एसडीएम के बीच गोहाना के सोनीपत रोड स्थित लघु सचिवालय में स्थित कार्यालय में हुई बैठक में लिया गया। किसानों ने फैसले का स्वागत किया। वहीं प्रशासन अब गांव कोहला के पास से पुलिस बल को हटवाएगा। गांव कोहला में पाइपलाइन दबाने का विरोध कर रहे किसानों ने वीरवार को महापंचायत बुलाई थी। हालांकि किसानों ने एक दिन पहले पोकलेन मशीन के आगे खड़े होकर काम को रुकवा दिया था। जिसके चलते 42 किसानों को हिरासत में लेने के बाद छोड़ दिया गया था।

किसान महापंचायत में भारतीय किसान यूनियन के युवा प्रदेश अध्यक्ष रवि आजाद ने कहा कि सरकार व प्रशासन किसानों की मांगों को गंभीरता से नहीं ले रहा। जबरदस्ती काम शुरू करवाया जा रहा है। यह किसानों के साथ ज्यादती है। किसान माताओं-बहनों तक को प्रताड़ित किया जा रहा है। किसान झुकने वाला नहीं है। किसान अपनी मांगों को पूरा कराकर ही रहेगा।

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किसान नेता सत्यवान नरवाल ने कहा कि किसान अपनी जमीन से पाइपलाइन दबाने की एवज में जायज मुआवजे की मांग कर रहे हैं। उनके क्षेत्र से सटे पानीपत में किसानों की जमीन का सर्कल रेट 80 लाख रुपये तय किया गया है। उसके अनुसार मुआवजा दिया जा रहा है। वहीं, सोनीपत में यह पहले 16 लाख था और अब करीब 25 से 27 लाख किया है। यह गलत व काफी कम है। कम से कम पानीपत की तर्ज पर सर्कल रेट तय कर मुआवजा दिया जाना चाहिए।

महापंचायत के बाद अखिल भारतीय किसान सभा के प्रदेशाध्यक्ष मास्टर बलबीर, किसान कामगार अधिकार मोर्चा के संयोजक सतेंद्र लोहचब, भारतीय किसान यूनियन के युवा के प्रदेश अध्यक्ष रवि आजाद सहित कई नेता एसडीएम कार्यालय पहुंचे। यहां काफी देर तक चली बैठक में प्रशासन ने किसानों को एक सप्ताह का समय दिया है।

गांव कोहला में महापंचायत से पहले ही भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया था । एसीपी ऋषिकांत के नेतृत्व में पुलिस बल को तैनात किया गया था ।

गुजरात से पानीपत रिफाइनरी में तेल की आपूर्ति पहुंचाने के लिए एक तेल कंपनी की तरफ से क्षेत्र के विभिन्न गांवों के खेतों से पाइपलाइन बिछाने का काम किया जा रहा है। काफी गांवों में पाइपलाइन बिछाई जा चुकी है। गांव कोहला में कई गांवों के किसान पाइपलाइन बिछाने पर मार्केट रेट के अनुसार मुआवजा देने की मांग को लेकर 3 अगस्त से धरना दे रहे हैं। पुलिस प्रशासन ने मंगलवार को किसानों को हटवाकर तेल आपूर्ति के लिए पाइपलाइन बिछाने का काम शुरू करवा दिया था।

Khabar Abtak

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