गोहाना में अनिश्चितकालीन धरने के 102वें दिन भाकियू ने जारी की सूची, न केवल पात्र अपितु मुआवजा मंजूर भी, पर पेमेंट नहीं
गोहाना :-9 मई : 102 दिन से आंदोलन कर रहे किसानों में से डेढ़ सौ के करीब किसान ऐसे भी हैं जो केवल पात्र हैं, अपितु उनको लेकर कोई विवाद न होने के चलते उनका मुआवजा मंजूर भी है, लेकिन उनको पेमेंट नहीं की जा रही है। गुरुवार को धरना स्थल पर ऐसे किसानों की सूची हरियाणा भाकियू के प्रदेश उपाध्यक्ष सत्यवान नरवाल ने जारी की।
सोनीपत जिले के किसान 29 जनवरी से गोहाना के लघु
सचिवालय में धरने पर बैठे हैं। पूर्व सी. एम. मनोहर लाल खट्टर और वर्तमान सी.एम. नायब सिंह सैनी तक आश्वासन दे चुके हैं, लेकिन किसानों को मुआवजे के भुगतान में लगातार विलंब हो रहा है। इसी विलंब से भड़के किसान अपने धरने को समाप्त नहीं कर रहे हैं।
उनका संकल्प है कि 12 प्रतिशत के ब्याज समेत जब तक मुआवजा उनके बैंक खातों में नहीं आ जाएगा, तब तक उनका धरना लगातार चलता रहेगा।
भाकियू के प्रदेश उपाध्यक्ष सत्यवान नरवाल के अनुसार मुआवजा 2021 और 2022 में फसलों को हुए नुकसान के लिए देय है। इस मुआवजे को न चुकाने के लिए रिलायंस बीमा कम्पनी किसानों की पॉलिसियां रद्द करने जैसा गैर-कानूनी कदम उठा चुकी हैं। इस कदम को स्वयं सोनीपत के डी.सी. अवैध ठहरा चुके हैं।
सत्यवान नरवाल ने धरनास्थल पर गुरुवार को उन किसानों की सूची जारी की जो उनके अनुसार मुआवजे के न केवल हकदार हैं अपितु उनके मुआवजे को ले कर किसी भी स्तर पर लेशमात्र विवाद नहीं है तथा उनका मुआवजा मंजूर भी है। सोनीपत जिले के ऐसे किसानों की संख्या डेढ़ सौ के लगभग है।
भाकियू के प्रदेश उपाध्यक्ष ने ऐसे किसानों का मुआवजा फौरन 12 प्रतिशत के बयान के साथ चुकाने की मांग की। उन्होंने कहा कि बाकी के किसानों को भी यदि मुआवजा 14 मई तक नहीं दिया गया, 15 मई को धरना स्थल पर प्रदेश स्तर की महापंचायत होगी तथा उसमें आर-पार की रणनीति का ऐलान कर दिया जाएगा।