जनता संस्था बुटाना में भ्रष्टाचार चरम पर- डॉ भाटिया की रिपोर्ट में खुलासा
मिट्टी में लाखों का घपला, परिवार के सदस्य को नौकरी पर लगाने, अपने चहतो की सैलरी समेत अनेक खुलासे आये सामने
डॉ भाटिया की रिपोर्ट में भ्रष्टाचार का खुलासा
गोहाना, 26 मई : जनता संस्था बुटाना में भ्रष्टाचार पर लगातार सामने आ रहा हैं। 20 जनवरी,2025 को एसडीएम गोहाना श्रीमती अंजली ने छापा मार कर 150 से ज्यादा लगाए गए फर्जी कर्मचारी पकड़े गए। संस्था का प्रधान सत्यपाल सांगवान 2लाख पचास हजार रुपए अपने व्यक्तिगत प्रयोग के लिए ले जाया हुआ मिला। अकाउंटेंट जगत सिंह के बयान दर्ज किए गए। उसके बाद जांच शुरू हुई। रजिस्ट्रार फर्म सोसाइटी ने जवाब मांगा।
संस्था के प्रधान सत्यपाल सांगवान ने अपने बेटे सचिन, भांजे कुलदीप, भाई के लड़के विकाश एवं अन्य परिवार एवं रिश्तेदारों को अपना मानने से लिखित में इंकार कर दिया। ऐसा दुनिया में शायद पहली बार हुआ होगा कि अपने बेटे, भतीजों एवं भांजे को लिखित में मना कर दिया। इसके बाद सुनवाई में पूर्व अध्यक्ष अजीत सांगवान ने इस बात को उठाया। प्रधान सत्यपाल सांगवान झूठ पकड़े जाने पर कुछ भी बोल पाया।
खुद की फर्म में 7 लाख से ज्यादा का चेक काट कर मिट्टी डाली गई दिखाई। जो जगता हुआ भ्रष्टाचार हैं। सत्यपाल सांगवान इलाके में भ्रष्टाचारी कहने लग गए। एक महिला कर्मचारी को अपने पद का दुरपयोग करते हुए हटाया। उनको हटाना प्रधान भ्रष्टाचारी होने के साथ साथ ऐसी छवि बनी की कोई भी देख कर राजी हैं। कहना पड़ा कि में चुनाव नहीं लड़ूंगा। नम्रता एवं रवींद्र को हटाना जिंदगी का गलत फैसला बन गया। जिसको प्रधान जीवित रहने तक भुला नहीं पाएगा। इस समय संस्था में चुनाव में चले हुए हैं। 26 में सर्वसम्मति हुई है। प्रधान के नाम पर सहमती न बन पाने के बाद दूसरे कैंडीडेट के नाम पर सिर्फ 6 मेंबर मिल पाए हैं। स्पष्ट हो चुका हैं कि भ्रष्टाचार करके अब लोगों को बहकाया नहीं जा सकता।
वहीं दूसरी तरफ रजिस्ट्रार ने जांच पर पत्र जारी करके जवाब मांगा।
डॉ अनुपम भाटिया ने चौकने वाला जवाब दे कर सबको सकते में न केवल डाला बल्कि भ्रष्टाचार का खुलासा किया है।
1. 7 लाख से ज्याद मिट्टी पड़ने पर सवाल उठाया है। 17 दिसंबर को प्रधान को ठेका दिया। उसी दिन 43 हाइवा कैसे पड़े। जो तीन कोटेशन लगी हुई उनके साथ छेड़खानी की बात कही है। मतलब बड़े गोल मॉल का संकेत है।
2. उन्होंने प्रधान समेत अन्य कार्यकारिणी के सदस्यों ने अपने परिवार के सदस्यों को नौकरी पर रख कर संस्था के संविधान के नियम 8)b ka उलंघन किया गया है। जो प्रधान के लिखित में दावे के विपरीत है कि उसने किसी परिवार के सदस्य को नौकरी पर भी लगा रखा।
3. फार्मेसी कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ आनंद यादव को लगा बिना एडवरटाइजमेंट के लगा दिया। जिनकी एलिजिबिलिटी एवं सैलरी लगने के 8 महीने में ही 5000 बढ़ा दी। जबकि अन्य कर्मचारियों की कोई भी सैलरी नहीं बढ़ाई गई।
अजीत सिंह सांगवान ने कहा है कि डॉ मंगल सेन हुडा जो रोहतक से थे। अपने इलाके वाले को हटा कर महेंदगढ़ जिले में जन्मे एवं जिनका परिवार राजस्थान के सीकर जिले में रहता है उनकी लगा दिया। इलाके के बच्चों के साथ खिलवाड़ की गई।
4. चौधरी धज्जा राम जनता महाविद्यालय में एक अपने नजदीकी नरेंद्र को चार्ज दिया गया। यूनिवर्सिटी ने उनके हटने के पत्र, अपने बेटे के एग्जाम में गलत प्रक्रिया अपनाने पर तीन साल के लिए प्रतिबंधित किया गया। जहां लगभग 27000 सैलरी थी 45000 करके गलत तरीके से लाभ पहुंचने पर भी जवाब दिया गया है।
नरेंद्र सिंह भी हैं जो एसडीएम गोहाना के छापे में भाग गया था। एवं खुद योग्य न होते हुए भी नम्रता को हटाने का पत्र जारी कर दिया। ये सिर्फ प्रधान के अनुसार लिखता है। सूत्रों से पता चला है कि इसकी Phd की डिग्री जो 2023 में कलिंगा यूनिवर्सिटी से दिखाई गई। उनकी शिकायत यूजीसी, सीएम हरियाणा, यूनिवर्सिटी में लिखित में हो चुकी है।
5. उन्होंने सरकार के पत्र का जिक्र भी किया है कि अगस्त,2023 में सरकार के साथ मीटिंग के बाद गालत तरीके से की है। इससे सभी भर्तियां विवादों में आ गई है।
6. आगे जांच के लिए एसडीएम की रिपोर्ट की मांग की गई हैं कि एसडीएम की रिपोर्ट दी जाए।
7. टाइम टेबल में मिसमैच की बात भी स्वीकार की हैं।
8. स्कूल में छापे के बाद जसवंती प्रिंसिपल दिखाई गई है। जो प्रधान के ख़ास पूर्व सचिव अशोक कुंडू के भाई के लड़के की पुत्र वधु है। जबकि उसमें हाजरी में दलबीर सिंह को प्रिंसिपल पाया गया। अटेंडेंस रजिस्टर एवं कर्मचारियों की लिस्ट में भी अंतर पाया गया है। ऐसे में स्पष्ट तौर से भ्रष्टाचार दिखाई दे रहा हैं।
इससे संस्था लगातार विवादों में आ रही हैं। अब इलाके के लोगों का फर्ज बनता है कि भ्रष्टाचारियों का साथ न देकर संस्था को बचाया जाए। क्योंकि संस्था में बच्चे लगातार कम हो रहे है। स्टाफ बढ़ रहा हैं।